नई दिल्ली । रीस्ट्रक्चरिंग के बाद वेदांता समूह को केयर्न इंडिया बायबैक मामले में सिक्योरिटी अपीलेट ट्राइब्यूनल (एसएटी) से राहत मिली है। सैट ने बायबैक मसले पर सेबी के आदेश के खिलाफ, कंपनी के पक्ष में अपना फैसला सुनाया है। सेबी ने कंपनी के खिलाफ अपना फैसला देते हुए कहा था कि बायबैक ऑफर को लेकर गलत जानकारी दी गई थी, कंपनी पर 5 करोड़ रुपए का जुर्माना लगाया था। बता दें, केयर्न वेदांता ग्रुप की कंपनी है। मामला जनवरी 2014 का है जब वेदांता समूह की कंपनी केयर्न ने ऐलान किया था कि वो ओपन मार्केट से 17 करोड़ शेयरों की खरीद करेगी। ये खरीद 335 रुपए प्रति शेयर पर होने की घोषणा की गई थी। साथ ही इसके लिए अधिकतम 5725 करोड़ रुपए की खरीद तय की गई थी। इस बायबैक के लिए जनवरी 2014 से जुलाई 2014 के बीच का समय तय किया गया था। हालांकि वेदांता ने योजना के आधे से भी कम शेयरों की खरीद की थी। दरअसल स्टॉक में गिरावट के बाद निवेशकों के लिए ऑफर फायदे का नहीं रह गया था। इसी मामले में सेबी ने जांच की थी और कहा था कि केयर्न ने खरीद के ऑर्डर तब ही दिए जब कीमतें नीचे आई। तब नहीं जब कीमतें ऊपरी स्तर पर थी। यानि कि कंपनी बायबैक करना ही नहीं चाहती थी। सेबी ने जांच में पाया कि वेदांता ने 24 दिन तक खरीद का कोई ऑर्डर नहीं दिया। वहीं 15 दिन की अवधि में सिर्फ 5000 शेयर का ऑर्डर दिया गया। ये वो अवधि थी जब भाव निवेशकों के लिए फायदेमंद थे। इसी पूरे मामले में सेबी ने वेदांता पर 5 करोड़ रुपए का जुर्माना लगाया था। साथ ही कंपनी पर नियम तोड़ने के लिए अलग से 25 लाख रुपए का जुर्माना लगाया गया था। इतना ही नहीं उस दौरान कंपनी के जो अधिकारी थे उन पर भी जुर्माना लगा था। कंपनी ने एसएटी में सेबी के फैसले के खिलाफ अपील की थी और अब सैट ने कंपनी के पक्ष में अपना फैसला दिया है।