भोपाल । मौसम का मिजाज अभी ऐसे ही बने रहने की संभावना है। हालांकि धूप में तल्खी बढ़ने से अब दिन के तापमान में बढ़ोतरी होगी। वर्तमान में उत्तर भारत के पहाड़ी क्षेत्रों में न्यूनतम तापमान काफी कम है। वहां से लगातार आ रही सर्द हवाओं के कारण मध्य प्रदेश में ठिठुरन बनी हुई है। विशेषकर उत्तर प्रदेश की सीमा से लगे जिलों में रात का तापमान सामान्य से काफी कम है। साथ ही वहां घना कोहरा भी छा रहा है। मौसम विज्ञानियों के अनुसार, उत्तर भारत के मैदानी इलाकों में सक्रिय जेट स्ट्रीम के असर से ठंड का प्रभाव लगातार बना हुआ है। हवाओं का रुख भी उत्तरी होने से प्रदेश में कड़ाके की सर्दी पड़ रही है। इसी क्रम में मंगलवार को प्रदेश में सबसे कम तीन डिग्री सेल्सियस तापमान दतिया में दर्ज किया गया। दतिया में शीतलहर रही। प्रदेश के 20 शहरों में न्यूनतम तापमान 10 डिग्री सेल्सियस से कम बना हुआ है। हिल स्टेशन पचमढ़ी में न्यूनतम तापमान 10.8 डिग्री सेल्सियस रिकार्ड किया गया। मुरैना, भिंड, ग्वालियर, दतिया, निवाड़ी एवं छतरपुर में घना कोहरा छाया रहा। सबसे कम 50 मीटर दृश्यता खजुराहो विमानतल पर तो 100 मीटर ग्वालियर विमानतल पर रिकार्ड की गई। उधर, मंगलवार को मलाजखंड, नौगांव, खंडवा एवं खरगोन में शीतल दिन रहा।  पूर्व वरिष्ठ मौसम विज्ञानी अजय शुक्ला ने बताया कि वर्तमान में कर्नाटक से लेकर छत्तीसगढ़ तक द्रोणिका बनी हुई है, जो विदर्भ से होकर गुजर रही है। मराठवाड़ा में हवा के ऊपरी भाग में एक चक्रवात बना हुआ है। हालांकि इन दोनों मौसम प्रणालियों का प्रदेश के मौसम पर विशेष असर नहीं है, लेकिन उत्तर भारत के मैदानी क्षेत्र में 12 किलोमीटर की ऊंचाई पर वेस्टर्न जेट स्ट्रीम सक्रिय है। जेट स्ट्रीम की खासियत होती है कि वह मौजूदा मौसम के लिए उत्प्रेरक का काम करता है। यही वजह से है कि कड़ाके की सर्दी लगातार बनी हुई है।