इस्लामाबाद,  मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, लाहौर के भ्रष्टाचार विरोधी निगरानी संस्था के डीजी को फराह खान के खिलाफ जांच शुरू करने का आदेश दिया गया है। आशंका जताई जा रही थी कि पाकिस्तान में नई सरकार बनने के बाद फराह खान को गिरफ्तार किया जा सकता है। उनके पति अहसन जमील गुज्जर पहले ही अमेरिका जा चुके हैं। इसलिए वह 3 अप्रैल को ही दुबई पहुंच गई थी। इसी दिन पाक नेशनल असेंबली में विपक्ष द्वारा लाया गया अविश्वास प्रस्ताव खारिज किया गया था।
विपक्ष का आरोप है कि फराह ने अधिकारियों को मनपसंद पद दिला मोटी रकम कमाई है। यह पाकिस्तान का सबसे बड़ा घोटाला है और फराह ने 600 करोड़ पाकिस्तानी रुपये वसूले हैं। पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ की बेटी और पाकिस्तान मुस्लिम लीग (पीएमएल)-एन उपाध्यक्ष मरियम का दावा है कि फराह का भ्रष्टाचार इमरान और बुशरा की शह पर चल रहा था। इमरान को डर है कि सत्ता हाथ से जाते ही उनके घोटाले सामने आ सकते हैं। फरहा के भागने के बाद पीएमएल-एन की नेता मरियम नवाज ने कहा था कि फराह सारे घोटालों की जड़ है। उसने पंजाब प्रांत में ट्रांसफर पोस्टिंग से ही 6 अरब रुपये कमाए हैं। उसके बेनीगाला (पाक पीएम इमरान खान के निवास) से सीधे संपर्क हैं। हाल ही में हटाए गए पंजाब के गवर्नर चौधरी सरवर और इमरान के पुराने दोस्त व पीटीआई के लिए पैसे का इंतजाम करने वाले अलीम खान का भी आरोप है कि फराह ने पंजाब में पूर्व मुख्यमंत्री उस्मान बुजदार के माध्यम से ट्रांसफर पोस्टिंग करा अरबों रुपये कमाए हैं। उधर, ऐसी भी खबरें हैं कि इमरान के पद से हटते ही उनके कई अन्य करीबी भी देश छोड़ने की योजना बना चुके हैं।