लंदन । यूरोप में समय भीषण गर्मी पड़ रही है। लंदन समेत कई इलाकों में पारा 40 डिग्री की सीमा को पार कर चुका है। यह पहली बार है, जब यूके में तापमान ने इतना उच्च स्तर छू लिया है। गर्मी लोगों के पसीने तो छुड़ा ही रही है, लोगों को कई अन्य तरह की समस्याओं से भी दो-चार होना पड़ रहा है। भीषण गर्मी की वजह से लोग बेहाल हैं और सड़क और विमान सेवाएं भी प्रभावित हुई हैं। कई स्थानों पर भीषण गर्मी की वजह से स्कूल बंद करने पड़े हैं।
हाल के दिनों में आग लगने की घटनाएं भी काफी बढ़ गई हैं। रेलवे की पटरियां खुलने और ओवरहेड वायर फुंक जाने से ट्रेन सेवाओं पर असर पड़ा है। कई जगह सड़कें पिघलने की भी खबरें हैं। गर्मी ने यूके ही नहीं, कई और देशों में लोगों की हालत पतली कर दी है। यूके में पिछली बार सबसे ज्यादा तापमान का रिकॉर्ड 2019 में बना था, जब पारा 38.7 डिग्री की सीमा को छू गया था। सन 2022 में तो अभी तक यूके के 34 वेदर स्टेशनों में गर्मी के अब तक के रिकॉर्ड टूट चुके हैं।
लंदन के प्रमुख हीथ्रो एयरपोर्ट पर सबसे पहले पारे ने 40 डिग्री का स्तर छुआ। ब्रिटेश टाइम के हिसाब से दोपहर 12.50 बजे एयरपोर्ट पर तापमान 40.2 डिग्री सेल्सियस था। इसके बाद लंदन के कई और इलाकों जैसे ग्रिंगले, नॉटिंघमशर, सेंट जेम्स पार्क, क्यू गार्डन, नॉर्थोल्ट आदि में भी तापमान 40 से ऊपर चला गया। मौसम विभाग के मुताबिक, पूर्वी इंग्लैंड का एक बड़ा हिस्सा, सरे से लेकर साउथ यॉर्कशर तक तापमान 39 डिग्री से लेकर 40 डिग्री के बीच दर्ज किया गया।
ठंडा रहने वाला स्कॉटलैंड भी इस भीषण गर्मी के असर से नहीं बच पाया। मंगलवार को यहां के चार्टरहॉल इलाके में पारा 34.8 डिग्री सेल्सियस तक चढ़ गया। इससे पहले यहां सबसे ज्यादा गर्मी का रिकॉर्ड 2003 में बना था, जब पारा 32.9 डिग्री तक पहुंच गया था। इसके अलावा वेल्स के फ्लिंटशर में 36.2 डिग्री पारा दर्ज किया गया। हालात को देखते हुए मौसम विभाग ने पहले ही दो दिन तक भीषणतम गर्मी पड़ने को लेकर आगाह कर दिया था और एक्सट्रीम हीट वॉर्निंग जारी की थी।  
लंदन में इस चुभती गर्मी की वजह से आग लगने की घटनाएं काफी बढ़ गई हैं। लंदन से लेकर कई शहरों में दमकल कर्मी आग से जूझ रहे हैं। लीसेस्टरशर, ईस्ट, नॉर्थ और साउथ यॉर्कशर, लिंकनशर, हर्टफोर्डशर, सुफोक और नॉरफोक जैसे इलाकों में आग की वजह से बड़े हादसे हुए हैं। शहरी इलाकों में बने तमाम घर भी आग की भेंट चढ़ गए हैं। लोगों को जान बचाकर भागना पड़ा। गृह मंत्री प्रीति पटेल ने लोगों से सावधान रहने की अपील की है।
गर्मी से लगी आग का असर रेल सेवाओं पर भी पड़ा है। बीबीसी के मुताबिक, कई जगह रेल पटरियां ओवरहीट हो गई, जिससे उनके लॉक खुल गए। लाइन के ऊपर लगे तार भी शॉर्ट सर्किट हो गए। इसकी वजह से कई जगह ट्रेनों का आवागमन रोकना पड़ा। रेल कंपनियों की तरफ से यात्रियों से अपील की जा रही है कि जरूरी काम न हो तो यात्रा से बचें। ट्रांसपोर्ट मिनिस्टर ग्रांट शैप्स ने माना कि यूके के रेल नेटवर्क इस भीषण गर्मी का सामना नहीं कर पाया है। उन्होंने बताया कि इस तरह की गर्मी में भी रेल सेवा को सुचारू रखने के पूरे इंतजाम करने में बरसों लग सकते हैं। गर्मी का आलम ये है कि वायुसेना के लड़ाकू विमानों की लैंडिंग और टेक ऑफ के लिए बने रनवे भी पिघलने लगे हैं। ऑक्सफ़ोर्डशर स्थित आरएएफ ब्रीज़ नॉर्टन में रनवे पर टरमैक पिघलने के बाद रक्षा मंत्रालय को बयान जारी करके विमानों को वैकल्पिक रनवे का इस्तेमाल करने का निर्देश देना पड़ा। ल्यूटन एयरपोर्ट पर भी भीषण गर्मी से रनवे पिघलने पर कुछ देर के लिए फ्लाइट्स को रोकना पड़ा। गर्मी के तेवर देखते हुए स्कूलों को भी बंद कर दिया है। यूके की हेल्थ सिक्योरिटी एजेंसी ने इंग्लैंड के लिए लेवल फोर वार्निंग जारी करनी पड़ी है।